मंगलवार, 4 मई 2021

कोरोना काल और मानवीय संवेदना

नर सेवा ही नारायण सेवा माने जाने वाले देश भारत में कोरोना काल के दौरान मानवीय संवेदनाओं का ह्वास होता देख मन बहुत दुखी हुआ, एक ओर मरीज एवं उनके परिजनों को दवाईयों, अस्पताल एवं ऑक्सिजन के लिए दर दर भटकते देखा वहीं दूसरी ओर कुछ लोग ऐसे मुश्किल समय में मरीजों की मज़बूरियों का फायदा उठाते पकड़े गए, जिन्होंने दवाइयों, ऑक्सीजन सिलिंडरों यहां तक कि मरीजों को हॉस्पिटल पहुंचने वाली एम्बुलेंस ड्राइवर द्वारा कई गुना शुल्क वसूलते पाया। ये कैसी आधुनिकता की ओर देश बड़ रहा है जहां नागरिक अपने नैतिक और मानवीय मूल्यों को खोते जा रहे हैं,  केवल धन को ही प्राथमिकता देने की ये सोच हमें विनाश की ओर ले जा रही है जिससे हमें जल्द ही बाहर आना होगा।